केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह पश्चिम बंगाल के दुर्गापुर में ANI को दिए वक्तव्य के मुख्य बिंदु
कलकत्ता हाईकोर्ट ने ममता बनर्जी का पिछड़ा समाज विरोधी चेहरा एक्सपोज कर दिया
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ममता बनर्जी ने पिछड़े वर्ग के आरक्षण पर डाका डालकर उनका हक मुसलमानों को दिया
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ममता बनर्जी का कोर्ट के फैसले को ना मानने की बात कहना कोर्ट की अवमानना
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तुष्टीकरण के लिए ममता दीदी ने हिन्दू संस्थाओं को बदनाम किया
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ममता बनर्जी को शायद नहीं मालूम कि भारत सेवाश्रम संघ के संस्थापक स्वामी प्रणवानन्द जी महाराज ना होते तो पश्चिम बंगाल बांग्लादेश का हिस्सा होता
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22 मई 2024,
बंगाल हाईकोर्ट की तरफ़ से OBC आरक्षण पर आए फ़ैसले पर टिप्पणी करते हुए केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री और भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता श्री अमित शाह ने बुधवार को पश्चिम बंगाल के दुर्गापुर में ANI को वक्तव्य दिया। जिसमें श्री अमित शाह ने हाईकोर्ट के फ़ैसले का स्वागत करते हुए कहा कि, ‘ममता बनर्जी ने 118 मुसलमान जातियों को बिना किसी पिछड़ेपन का सर्वे कराए उन्हें OBC का आरक्षण दे दिया, जिस पर किसी ने याचिका लगाई और कोर्ट ने इसका संज्ञान लेकर 2010 से 2024 तक जितने प्रमाणपत्र ममता बनर्जी सरकार ने जारी किए थे उसके स्थगन का आदेश दिया है।’
इसके साथ श्री अमित शाह ने कहा कि, ‘ममता बनर्जी पिछड़े वर्ग के आरक्षण पर डाका डालकर उनका हक मुसलमानों को दिया है। मैं OBC आरक्षण पर आए हाई कोर्ट के इस फैसले का स्वागत करता हूं। हालाँकि, ममता बनर्जी कहती हैं कि मैं इस फ़ैसले को नहीं मानती। मैं बंगाल की जनता से पूछना चाहता हूं कि कोई मुख्यमंत्री, संवैधानिक पद पर होने के बावजूद कहीं ऐसा हो सकता है की वो हाई कोर्ट के आदेश को न मानें? आज किस प्रकार की मानसिकता से बंगाल का लोकतंत्र गुजर रहा है। मैं इसकी घोर निंदा करता हूं... हम यह सुनिश्चित करेंगे कि हाई कोर्ट के फैसले का अमल हो और पिछड़े वर्ग को उनका अधिकार मिले न कि तुष्टीकरण और वोट बैंक की नीति के कारण उसका लाभ उन्हें मिले जो पिछड़े नहीं हैं। ठीक इसी तरह कांग्रेस पार्टी भी तेलंगाना और कर्नाटक में OBC के आरक्षण पर डाका ड़ालने का काम कर रही है। बंगाल में ममता बनर्जी ने भी SC, ST के आरक्षण पर डाका ड़ालकर उनका हक़ मुसलमानों को दे रही है।भाजपा इसका विरोध करती है क्योंकि संविधान धर्म के आधार पर आरक्षण की कोई अनुमति नहीं देता।’
इसके अलावा रामकृष्ण मिशन की संपत्तियों में हुई तोड़फोड़ पर बोलते हुए श्री अमित शाह ने कहा कि, ‘भारत सेवाश्रम संघ वह संस्था है जिसके कारण आज पश्चिम बंगाल भारत का हिस्सा है। ममता बनर्जी को शायद नहीं मालूम कि भारत सेवाश्रम संघ के संस्थापक स्वामी प्रणवानन्द अगर ना होते तो पश्चिम बंगाल भारत का नहीं बांग्लादेश का हिस्सा होता। जबकि आज ममता बनर्जी भारत सेवाश्रम संघ, इस्कॉन, रामकृष्ण मिशन इस प्रकार की संस्थाओं को बदनाम कर रही हैं ताकि वो मुसलमान मतदाताओं को खुश कर कर सकें। आज ममता बनर्जी सिर्फ़ चुनाव जीतने के लिए इन संस्थाओं की प्रतिष्ठा को आहत करने की कोशिश कर रही हैं। जबकि रामकृष्ण मिशन नॉर्थ ईस्ट और दूर दराज़ के जंगलों में आज शिक्षा, स्वास्थ्य से लेकर अनेकों प्रोजेक्ट पर काम कर रही है। उसके बाद भी ममता बनर्जी इन संस्थाओं पर निशाना साध रही हैं। उन पर तुष्टीकरण की राजनीति कर रही हैं। मैं इसकी घोर निंदा करता हूं... मैं बंगाल की जनता को अपील करता हूं कि वोट बैंक की राजनीति के लिए ममता बनर्जी अगर इस प्रकार की प्रतिष्ठित संस्थाओं पर आरोप लगाती है तो जनता को भी इस पर गंभीर होकर सोचना चाहिए।’
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