भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता एवं सांसद डॉ संबित पात्रा की प्रेसवार्ता के मुख्य बिन्दु
राहुल गांधी का एकमात्र उद्देश्य भारत को बदनाम करना है। गांधी परिवार और कांग्रेस पार्टी यह सहन नहीं कर पा रही है कि आज भारत की अर्थव्यवस्था तेजी से आगे बढ़ रही है और जल्द ही विश्व में तीसरे स्थान पर आ जाएगी।
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राहुल गांधी की इल्हान ओमर और जॉर्ज सोरोस वाली ‘अंतरराष्ट्रीय स्ट्रक्चर की नीयत’ भारतीय मार्केट पर आघात करना है।
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राहुल गाँधी बार-बार जेपीसी गठित करने की बात कहते हैं, लेकिन जब इनकी कहीं सरकार नहीं बन रही है तो जेसीपी की ही बात करके वे खुश हो जा रहे हैं। जब जेपीसी बनाई जाती है तो वहां इनके लोग कभी बोतल तोड़ते हैं, तो कभी हाथ तोड़ते हैं।
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गौतम अदाणी को राहुल गांधी भ्रष्ट बोलते हैं, तो आखिर उनकी कंपनी से कांग्रेस की तेलंगाना सरकार ने 100 करोड़ रुपए का डोनेशन क्यों लिया? उनके साथ 12,400 करोड़ रुपए के एमओयू क्यों हस्ताक्षर किए? राहुल गांधी को इसका जवाब देना होगा।
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जो राहुल गांधी कहते हैं अदाणी के पीछे मोदी है, पहले वो बताएं कि छत्तीसगढ़ की भूपेश बघेल सरकार में अदाणी ने करोड़ों निवेश किए उसके पीछे कौन था? राजस्थान में गहलोत सरकार में अदाणी ने करोड़ों निवेश किए उसके पीछे कौन था? कर्नाटक में करोड़ों निवेश हुए वो किसकी देख-रेख में हुआ?
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राहुल गांधी के मुताबिक ‘बिजली का बिल आपका और मुनाफा उनका’ तो ये ‘उनका’ कौन है? चारों राज्यों में भाजपा का तो कोई नहीं था, कांग्रेस के ही अपने लोग थे। क्या राहुल गांधी, रेवंत रेड्डी, भूपेश बघेल और अशोक गहलोत अलग-अलग हैं?
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राहुल गांधी कह रहे हैं कि इंडिया हाइजेक हो गया है। यहां टेन्स गलत है, इसे पास्ट टेन्स में होना चाहिए था। ‘इंडिया हाइजेक हो गया था और नकली गांधी पारिवार उसका हाइजेकर था’।
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प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी की विश्वसनीयता इतनी अधिक है कि जब राहुल गांधी प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रहे हैं तब भारत से कोसों मील दूर दूसरे देश में उन्हें ‘सर्वोच्च नागरिक सम्मान’ दिया जा रहा है।
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राहुल गांधी ने कहा कि भारत वर्ष में कांग्रेस पार्टी को कोर्ट का भी काम करना पड़ रहा है। बेल पर बाहर मां-बेटे’ कह रहे हैं कि वो इस देश में न्यायालय का भी काम कर रहे हैं, उनकी इस कथनी पर तो उनके खिलाफ न्यायालय की अवमानना का केस होना चाहिए।
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भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता और लोकसभा सांसद डॉ संबित पात्रा ने आज केंद्रीय कार्यालय में प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए कांग्रेस नेता राहुल गांधी द्वारा प्रेस वार्ता के दौरान आदरणीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी एवं भारतीय जनता पार्टी पर निराधार आक्षेप लगाने की जमकर आलोचना की। डॉ पात्रा ने कहा कि राहुल गांधी का एकमात्र उद्देश्य भारत को बदनाम करना है। गांधी परिवार और कांग्रेस पार्टी यह सहन नहीं कर पा रही है कि आज भारत की अर्थव्यवस्था तेजी से आगे बढ़ रही है और जल्द ही विश्व में तीसरे स्थान पर आ जाएगी।
डॉ. पात्रा ने कहा कि राहुल गांधी ने एक बार फिर अपनी प्रेस वार्ता में वही पुराना राग दोहराया है। उनके पास कोई नया मुद्दा नहीं है और वे बार-बार कुछ गिने-चुने नामों को दोहराते रहते हैं। हर बार अपनी प्रेस वार्ता में वे आदरणीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी और भारतीय जनता पार्टी पर अनर्गल आरोप लगाने का प्रयास करते हैं। वर्ष 2019 के चुनाव से पहले भी राहुल गांधी ने राफेल का मुद्दा उठाया था और जोर देकर इसे बहुत बड़ा घोटाला बताया था, यहां तक कि ‘चौकीदार चोर है’ का नारा भी दिया था। कोविड-19 महामारी के दौरान भी राहुल गांधी ने प्रेस वार्ताओं के जरिए सनसनी फैलाने की कोशिश की थी, लेकिन अंत में उन्हें माननीय सुप्रीम कोर्ट के समक्ष माफी मांगनी पड़ी।
भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉ. पात्रा ने कहा कि राहुल गांधी का एकमात्र उद्देश्य भारत को बदनाम करना और देश की प्रतिष्ठित संस्थाओं पर आक्षेप लगाना है। जो संस्थाएं भारत की सुरक्षा और मजबूती के लिए काम करती हैं, राहुल गांधी बार-बार उन्हें निशाना बनाकर विवाद खड़ा करते हैं। मामला एक कंपनी से संबंधित है, जिसके कार्यों पर कानूनी प्रक्रिया चल रही है और कानून अपना काम करेगा। इसमें किसी का कोई हस्तक्षेप नहीं है और कंपनी खुद इन मामलों को संभालेगी। हालांकि, आज सुबह से एक दस्तावेज मीडिया और जनता के बीच प्रसारित हो रहा है जो बिजली की खरीद-फरोख्त से जुड़े एक समझौते पर आधारित है। यह समझौता अमेरिका और भारत की दो कंपनियों के बीच हुआ था, जिसमें भारत के चार राज्य भी शामिल हैं। यह मामला जुलाई 2021 से फरवरी 2022 के बीच का है और इसमें राज्य वितरण कंपनियां शामिल थीं। इनका मुख्य कार्य राज्य में बिजली आपूर्ति को सुनिश्चित करना होता है और साथ ही राज्य में बिजली की खरीद-फरोख्त भी यही वितरण कंपनियां देखती है। दस्तावेज में जिन चार राज्यों का नाम सामने आया है, वे हैं- छत्तीसगढ़, आंध्र प्रदेश, ओड़िसा और तमिलनाडु। जुलाई 2021 से फरवरी 2022 के बीच इन चार राज्यों में भाजपा या एनडीएन की सरकार नहीं थी। छत्तीसगढ़ में पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के नेतृत्व में कांग्रेस की सरकार थी, आंध्र प्रदेश में उस समय कांग्रेस समर्थित वाईएसआरसीपी की जगन मोहन रेड्डी की सरकार थी और जहां सबसे अधिक बिजली की खरीद-फरोख्त का मामला है, वह तमिलनाडु है, जहां कांग्रेस गठबंधन वाली सहयोगी पार्टी डीएमके की सरकार थी और ओडिश राज्य में उस समय बीजद की नवीन पटनायक के नेतृत्व वाली सरकार थी।
भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉ. पात्रा ने कहा कि जिन चारों राज्यों का नाम अमेरिका में सामने आया है, उस समय उन राज्यों में न तो भारतीय जनता पार्टी के मुख्यमंत्री थे और न ही भाजपा समर्थित सरकारें थी। उन राज्यों में कांग्रेस और उनके सहायक दलों की सरकारें थी। आज राहुल गांधी ने अपनी प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा कि उन्हें इस बात से कोई आपत्ति नहीं है कि उनके किसी भी पूर्व नेता से पूछताछ की जाए। भाजपा को भी इस बात से कोई आपत्ति नहीं है कि भूपेश बघेल से पूछताछ की जाए। चारों राज्यों में जिन नेताओं के अंतर्गत राज्य इलेक्ट्रिसिटी बोर्ड इत्यादि रहा हो, उनसे पूछताछ की जाए। कांग्रेस केस करे और पूछताछ करवाए। भारतीय जनता पार्टी को इसमें कोई समस्या नहीं है। राहुल गांधी ने एक बोर्ड दिखाया कि ‘बिजली का बिल आपका और मुनाफा उनका’। तमिलनाडु में बिजली का बिल भाजपा सरकार तो नहीं दे रही थी, डीएमके की सरकार दे रही थी। इसी तरह छत्तीसगढ़ में जुलाई 2021 से फरवरी 2022 के बीच बिजली का बिल भी भाजपा सरकार नहीं, भूपेश बघेल की सरकार ही जेनरेट कर रही थी तो फिर पैसे मोदी जी की जेब में कैसे चले गए? पैसा तो वहां के मुख्यमंत्री और वहां के एसडीसी की कंपनी के जेब में ही गया होगा। राहुल गांधी के मुताबिक ‘बिजली का बिल आपका, मुनाफा उनका’, तो ये ‘उनका’ कौन है? चारों राज्यों में भाजपा का तो कोई नहीं था, कांग्रेस के ही अपने लोग थे। मुनाफा किसका हुआ इसका जवाब राहुल गांधी दें।
श्री पात्रा ने कहा कि राहुल गांधी कह रहे हैं कि आदरणीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी की विश्वसनीयता खत्म हो गई है, अदाणी के पीछे श्री मोदी जी खड़े हैं इस लिए उनकी विश्वसनीयता वैश्विक स्तर पर खत्म हो गई है। राहुल गांधी कान खोल कर सुन लें कि आदरणीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी की विश्वसनीयता को समाप्त करने का प्रयास वो पहली बार नहीं कर रहे हैं, वर्ष 2002 से सोनिया गांधी और कांग्रेस पार्टी आदरणीय श्री नरेन्द्र मोदी जी की विश्वसनीयता को समाप्त करने का लगातार प्रयास कर रहे हैं। ‘मौत के सौदागर से लेकर, तुम नीच हो, पाकिस्तान में मोदी को समाप्त करना है, से लेकर चौकीदार चोर है’ तक 100 बार ये कहा गया कि आदरणीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी की विश्वसनीयता समाप्त हो चुकी है और उनकी छवि धूमिल पड़ चुकी है। देश के यशस्वी प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी की विश्वसनीयता विश्वपटल पर इतनी अधिक है कि जब राहुल गांधी प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रहे थे, तब भारत से कोसों मील दूर दूसरे देश में उन्हें ‘सर्वोच्च नागरिक सम्मान’ दिया जा रहा है। यह है मोदी जी की विश्वासनीयता। न ‘मौत के सौदागर’ से उनकी छवि धूमिल हुई, न ‘चौकीदार चोर है’ कहने से मोदी जी की विश्वसनीयता कम हुई।
भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉ. पात्रा ने कहा कि राहुल गांधी ने आज अपनी प्रेसवार्ता में कहा कि बहुत बड़ा ‘स्ट्रक्चर’ है और वो ‘स्ट्रक्चर’ दिखाएंगे। सबको पता है कि राहुल गांधी की इल्हान उमर और जॉर्ज सोरोस के अंतरराष्ट्रीय ‘स्ट्रक्चर की नीयत क्या है? राहुल गांधी का ‘स्ट्रक्चर’ भारत के मार्केट पर आघात करना है। गांधी परिवार और कांग्रेस पार्टी यह सहन नहीं कर पा रही है कि आज भारत की अर्थव्यवस्था तेजी से आगे बढ़ रही है और जल्द ही विश्व में तीसरे स्थान पर आ जाएगी। इसलिए यह भारत के मार्केट पर आक्रमण कर रहे हैं । आज सुबह से ही कांग्रेस का पूरा ‘स्ट्रक्चर’ लगा हुआ है कि कैसे भारत का मार्केट गिराया जा सके। सोशल मीडिया पर ट्वीट से लेकर अन्तर्राष्ट्रीय बाजार में मेसेज देकर भारत के शेयर मार्केट को गिराने का प्रयास किया जा रहा है। भारत के मिडिल क्लास के लगभग ढाई करोड़ छोटे निवेशकों को आज भारी नुकसान झेलना पड़ा। इससे पहले भी राहुल गांधी ने कई प्रकरणों को लेकर भारत के शेयर बाजार पर हमला करने का प्रयास किया है ताकि मार्केट गिरे और भारत की अर्थव्यवस्था पर उसका प्रतिकूल प्रभाव पड़ सके।
आज राहुल गांधी ने अपनी प्रेस वार्ता में कहा कि अदाणी के पीछे मोदी जी हैं। भारतीय जनता पार्टी ने राहुल गांधी से कुछ सवालों का जवाब चाहती है-
· छत्तीसगढ़ में कांग्रेस की भूपेश बघेल सरकार के शासन में अदाणी ने 25,000 करोड़ रुपए का निवेश किया, क्या कारण था?
· राजस्थान में कांग्रेस अशोक गहलोत सरकार के शासन में अदाणी ने 65,000 करोड़ रुपए का निवेश किया, यह क्यों हुआ?
· कर्नाटक में सिद्दारमैया के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार में अदाणी ने 1 लाख करोड़ रुपए का निवेश करने का वादा किया और पश्चिम बंगाल में 35,000 करोड़ रुपए का निवेश हुआ, जहां कांग्रेस की राज्य सरकार के साथ सांठ-गांठ है। इस पर राहुल गाँधी क्या कहेंगे?
· कांग्रेस शासन के दौरान आंध्र प्रदेश में 60,000 करोड़ रुपए और तमिलनाडु में 4,500 करोड़ रुपए का निवेश हुआ। राहुल गाँधी इस निवेश के बारे में क्या कहेंगे?
· इसी वर्ष 19 अक्टूबर को अदाणी फाउंडेशन ने तेलंगाना में कांग्रेस की रेवंत रेड्डी सरकार को कौशल विकास के लिए 100 करोड़ रुपए का डोनेशन दिया। राहुल गांधी जिसे एक भ्रष्ट व्यक्ति मानते है उसके फाउंडेशन से यह दान क्यों लिया?
· 23 जनवरी 2024 को तेलंगाना के मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम में भाग लेते हैं और तेलंगाना की कांग्रेस सरकार अदाणी की कंपनी के साथ 12,400 करोड़ रुपए के एमओयू पर हस्ताक्षर करती है। राहुल गांधी को स्पष्ट करना चाहिए कि इन सभी मामलों का जवाब कौन देगा?
· क्या राहुल गांधी और रेवंत रेड्डी अलग हैं? क्या राहुल गांधी और भूपेश बघेल अलग हैं? क्या राहुल गांधी और अशोक गहलोत अलग हैं? राहुल गांधी को इन सवालों का जवाब देश की जनता को सामने आकर देना होगा।
भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉ. पात्रा ने कहा कि चाहे 2-जी का केस हो, कोयला घोटाला हो, सीडब्ल्यूजी का केस हो, इन सभी केसों को लेकर भाजपा कोर्ट जाती थी, स्वर्गीय श्री अरुण जेटली जी केस लड़ते थे, केस में जांच होती थी, मामला साबित होता था, भारतीय जनता पार्टी तथ्यों के आधार पर आरोप लगाती थी और कोर्ट में केस लड़ती थी, केवल प्रेस कॉन्फ्रेंस तक सीमित नहीं रहती थी।
भारतीय जनता पार्टी ने राहुल गांधी से सवाल पूछे और जवाब की उम्मीद की-
· इस मामले में राहुल गांधी केस क्यों नहीं कर रहे हैं?
· राहुल गांधी कोर्ट क्यों नहीं जाते? जबकि पूरे देश ने देखा है कि आधी रात में भी सुप्रीम कोर्ट में याचिका दी गई थी।
डॉ. पात्रा ने कहा कि राहुल गांधी ने एक सांसद रहते हुए कहा कि भारत वर्ष में कांग्रेस पार्टी को “ज्यूडिसरी” का भी काम करना पड़ रहा है। राहुल गांधी के अनुसार मीडिया भी अपना काम नहीं कर रही है, मीडिया का भी काम कांग्रेस को करना पड़ रहा है। ‘बेल पर बाहर’ मां-बेटे कह रहे हैं कि वो इस देश में न्यायालय का काम कर रहे हैं, इस मामले को लेकर राहुल गाँधी पर न्यायालय की अवमानना का केस होना चाहिए। एक पत्रकार बंधु ने राहुल गांधी से तीन प्रश्न क्या पूछ लिए, तो उसे भाजपा का पत्रकार घोषित कर दिया, उसके प्रश्नों को भाजपा का प्रश्न बता दिया। दरअसल, राहुल गांधी के पास उन प्रश्नों का उत्तर नहीं था, इसीलिए वो गुस्सा हो गए थे। राहुल गाँधी देश की प्रतिष्ठित संस्थाओं पर आक्षेप लगाते हैं, जो संस्थाएं भारत की सुरक्षा और मजबूती के लिए काम करती है, राहुल गांधी बार-बार उन्हें निशाना बनाकर विवाद खड़ा करते हैं।
भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉ. पात्रा ने कहा कि राहुल गांधी कह रहे हैं कि इंडिया हाइजैक हो गया है। यहां “टेन्स” गलत है, इसे “पास्ट टेन्स” में होना चाहिए था। इंडिया हाइजैक हो गया था और नकली गांधी पारिवार उसका हाईजैकर था। अब प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में इंडिया को हाईजेकिंग से मुक्त कराया गया है और भारत का “इकोनॉमिक जहाज“ 2014 से रनवे पर रफ्तार से दौड़कर अब 35 हजार फुट की ऊंचाई पर उड़ान भर रही है। डॉ. पात्रा ने तंज कसते हुए कहा कि राहुल गाँधी बार-बार जेपीसी गठित करने की बात कहते हैं, लेकिन जब इनकी कहीं सरकार नहीं बन रही है, तो जेसीपी की ही बात करके वे खुश हो जा रहे हैं। जब जेपीसी बनाई जाती है, तो वहां इनके लोग कभी बोतल तोड़ते हैं, तो कभी हाथ तोड़ते हैं। लोकसभा सत्र शुरू होने से पहले यह कांग्रेस का ड्रामा है। राहुल गांधी लोकसभा में पहले दिन ही ड्रामा और नौटंकी शुरू कर देंगे कि किस प्रकार भारत का संसद बाधित रहे और हर जगह अस्त-व्यस्तता रहे। यही राहुल गांधी और कांग्रेस पार्टी का विशेष प्रबंधन है।
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