भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉ. संबित पात्रा की प्रेस वार्ता के मुख्य बिंदु
पूरे देश ने विकास का एक वाड्रा मॉडल देखा है लेकिन अब हम राहुल गाँधी को भी विकास के एक और दूसरे मॉडल के रूप में देख रहे हैं
***************
राहुल गांधी के 2004 के उनके चुनावी हलफनामे में था कि उनके पास 55,83,123 लाख रुपए की सपंत्ति है. यह संपत्ति कैसे बढ़कर 2009 में 2 करोड़ और फिर 2014 में 9 करोड़ हो गई?
***************
आखिर कैसे एक सांसद की संपत्ति आय के कोई प्रत्यक्ष स्रोत के बिना इतने वर्षों में इतनी ज्यादा बढ़ सकती है? राहुल गाँधी, कृपया हमें विकास के इस मॉडल के बारे में बताएँ
***************
2011-12 में, राहुल गाँधी आय से अधिक इनकम के एक मामले में आरोपित थे। एसोसिएटेड जनरल लिमिटेड (AJL) के माध्यम से 155 करोड़ रुपए के मामले में आईटी विभाग ने राहुल गाँधी और सोनिया गाँधी को 100 करोड़ रुपए का टैक्स नोटिस भेजा था
***************
भ्रष्टाचार में जीजा-साले की संजय भंडारी, सी. सी. थंपी और एच. एल. पाहवा के साथ क्या मिलीभगत है, इस पर अब राहुल गाँधी को देश की जनता को जवाब देना होगा
***************
2G घोटाले पर कैग की रिपोर्ट पर सुप्रीम कोर्ट ने तत्कालीन कांग्रेस सरकार से जवाब माँगा था, इसके बावजूद यूनिटेक लिमिटेड से संपत्ति क्यों खरीदी गई थी?
***************
क्या राहुल गाँधी और एफटीआईएल के बीच व्यापारिक लेन-देन भी एक कारण था कि तत्कालीन यूपीए सरकार एनएसईएल घोटाले के अभियुक्तों पर मुकदमा चलाने में धीमी रही
***************
भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉ. संबित पात्रा ने आज पार्टी के केन्द्रीय कार्यालय में एक प्रेस वार्ता को संबोधित किया और कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गाँधी की अप्रत्याशित गति से बढ़ती आय और उसके चमत्कारिक स्रोत पर सवाल उठाते हुए हमला बोला।
डॉ. संबित पात्रा ने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गाँधी पर हमला करते हुए सवाल सवाल किया कि पूरे देश ने विकास का एक वाड्रा मॉडल देखा है लेकिन अब हम राहुल गाँधी को भी विकास के एक दूसरे मॉडल के रूप में देख रहे हैं। डॉ पात्रा ने राहुल गाँधी की आय का ब्यौरा देते हुए कहा कि राहुल गांधी ने 2004 के अपने चुनावी हलफनामे में कहा था कि उनके पास 55,83,123 लाख रुपए की सपंत्ति है. यह संपत्ति कैसे बढ़कर 2009 में 2 करोड़ और फिर 2014 में यह संपत्ति लम्बी छलांग लगाए हुए बढ़कर 9 करोड़ हो गई? उन्होंने कहा कि 2004 में मात्र 55,38,123 रुपए से बिना आय के किसी भी अन्य स्रोत के, राहुल गाँधी की संपत्ति 2014 में बढ़कर 9 करोड़ हो गई। उन्होंने सवाल पूछते हुए कहा कि राहुल जी, आपकी आय का स्रोत क्या है? राहुल गांधी का यह बिजनेस का मॉडल क्या है? डॉ पात्रा ने राहुल गांधी से सवाल किया कि आखिर कैसे एक सांसद की संपत्ति आय के कोई प्रत्यक्ष स्रोत के बिना इतने वर्षों में इतनी ज्यादा बढ़ सकती है? राहुल गाँधी, कृपया हमें विकास के इस मॉडल के बारे में बताएँ।
डॉ पात्रा ने राहुल गाँधी, प्रियंका वाड्रा और रॉबर्ट वाड्रा पर निशाना साधते कहा कि यह तिकड़ी आर्म डीलर संजय भंडारी और सीसी थम्पी के साथ मिलकर औने-पौने दाम पर जमीन खरीद कर उन्हीं को कई गुना अधिक दाम पर बेच देते थे। इससे इनकी आय लगातार बढ़ रही थी. उन्होंने सवाल उठाते हुए पूछा कि आखिर भला कोई अपनी ही जमीन कम दाम में बेचकर कई गुना अधिक दाम में क्यों खरीदेगा? डॉ पात्रा ने कहा कि 2011-12 में, राहुल गाँधी आय से अधिक इनकम के एक मामले में आरोपित थे। एसोसिएटेड जनरल लिमिटेड (AJL) के माध्यम से 155 करोड़ रुपए के मामले में, आईटी विभाग ने राहुल गाँधी और सोनिया गाँधी को 100 करोड़ रुपए का टैक्स नोटिस भेजा था।
डॉ पात्रा ने राहुल गाँधी की आय के तीसरे स्रोत का ब्यौरा देते हुए Financial Technologies (India) Ltd. (एफटीआईएल) के गाँधी परिवार के लिंक का भी उल्लेख किया, जो 2013 के National Spot Exchange Ltd. (एनएसईएल) घोटाले के केंद्र में था। उन्होंने कहा कि 2013 में राहुल गाँधी और प्रियंका वाड्रा ने दिल्ली के महरौली स्थित 4.69 एकड़ के फार्महाउस को 6.7 लाख प्रति महीने की दर से FTIL (Financial Technologies (India) Ltd.) को रेंट पर दिया जिसके बदले उन्हें किराए में ब्याज-मुक्त भुगतान के रूप में लाखों रुपए मिले थे। इस प्रकार यह अपने आप में बेहद गंभीर मामला बनता है। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि जिस समय एफटीआईएल को फार्महाउस किराए पर दिया गया था उस समय जाँच जारी थी। साथ ही, एनएसईएल घोटाले के अभियुक्तों पर मुकदमा चलाने में कॉन्ग्रेस सरकार धीमी रही। क्या राहुल गाँधी और एफटीआईएल के बीच व्यापारिक लेन-देन भी एक कारण था?
डॉ पात्रा ने राहुल गाँधी की आय के चौथे स्रोत का उल्लेख करते हुए कहा कि राहुल गाँधी ने 2-जी घोटाले के आरोपी यूनिटेक लिमिटेड से अक्टूबर 2014 में दो सम्पत्तियाँ खरीदीं, एक की कीमत 1.44 करोड़ रुपए और दूसरा 5.36 करोड़ की दो सम्पत्तियाँ गुरुग्राम के सिग्नेचर टावर्स- II में स्थित थीं, जो यूनिटेक के स्वामित्व में थे, लेकिन इसके लिए केवल 4 करोड़ रुपए ही चुकाए गए। उन्होंने सवाल उठाते हुए राहुल गाँधी पर निशाना साधते हुए पूछा कि जब 2G घोटाले पर कैग की रिपोर्ट पर सुप्रीम कोर्ट ने तत्कालीन कांग्रेस सरकार से जवाब माँगा था, इसके बावजूद यूनिटेक लिमिटेड से संपत्ति क्यों खरीदी गई थी?
डॉ पात्रा ने 2-जी मामले से जुड़े सुप्रीम कोर्ट के 2017 के उस उद्धरण का जिक्र किया जिसमें अदालत ने नाराजगी जताते हुए कहा था कि 2-जी मामले में पेश किए जाने वाले किसी भी साक्ष्य के लिए उन्होंने 7 साल तक इंतजार किया लेकिन सरकार ने कभी भी इस पर अमल नहीं किया जबकि इस मामले का अधिकांश हिस्सा कांग्रेस सरकार के अधीन था। डॉ पात्रा ने कहा कि जहाँ तक यूनिटेक का संबंध है, क्या यह एक परस्पर लेन-देन व्यवस्था थी?
(महेंद्र पांडेय)
कार्यालय सचिव
To Write Comment Please Login