Salient points of the press conference of BJP National Spokesperson Shri Gaurav Bhatia


द्वारा श्री गौरव भाटिया -
01-07-2024
Press Release

 

भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता श्री गौरव भाटिया की प्रेसवार्ता के मुख्य बिन्दु

 

चोपड़ा, दिनाजपुर में महिला की कोड़ों से पिटाई मामला दर्शाता है कि पश्चिम बंगाल जंगलराज का पर्याय बन चुका है।

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उत्तर दिनाजपुर में टीएमसी नेता ताजमुल भारत के संविधान में नहीं, बल्कि ममता बनर्जी के इशारे पर तालिबानी अंदाज में त्वरित न्याय करने में विश्वास रखते हैं।

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टीएमसी विधायक हमीदुल रहमान ने खुले तौर पर मुस्लिम देशों के नियमों का हवाला देते हुए सार्वजनिक स्थल पर महिला को कोड़ों से मारने को सही ठहराया। पश्चिम बंगाल में कानून व्यवस्था ध्वस्त है और ममता बनर्जी मस्त हैं।

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पश्चिम बंगाल में संविधान की मूल भावना को तार-तार किया जा रहा है और संविधान हाथ में लेकर घूमने वाली कांग्रेस समेत इंडी गठबंधन के नेता इन अत्याचारों पर चुप्पी साधे बैठे हैं।

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ममता बनर्जी की आस्था अब संविधान में नहीं है, बल्कि उन्होंने अपनी पार्टी के गुंडों को शरिया कानून लागू कर, तालिबानी राज स्थापित करने की खुली छूट दे दी है। खाता न बही जो ममता के गुंडे कहे वही सही।

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संदेशखाली, चुनावी हिंसा, हत्या, बलात्कार और उत्तरी दिनाजपुर हुए निंदनीय कृत्य की जिम्मेदारी मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की है और भाजपा उनके इस्तीफे की मांग करती है।

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दिनाजपुर में महिला की कोड़ों से पिटाई मामले पर मल्लिकार्जुन खड़गे, सोनिया गांधी, राहुल गांधी, अखिलेश यादव, अरविंद केजरीवाल जैसे नेता चुप क्यों हैं?

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भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता श्री गौरव भाटिया ने आज केंद्रीय कार्यालय में आयोजित प्रेसवार्ता में पश्चिम बंगाल के उत्तरी दिनाजपुर में महिला के साथ हुए दुर्व्यवहार की भर्त्सना करते हुए बंगाल की चरमराती कानून व्यवस्था को लेकर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर जमकर निशाना साधा। भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता ने बंगाल में हो रहे अत्याचार और महिला विरोधी कृत्यों के लिए मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को जिम्मेदार ठहराते हुए, इस्तीफे की मांग की।

 

श्री भाटिया ने कहा कि पश्चिम बंगाल में जंगलराज का एक और दुर्भाग्यपूर्ण उदाहरण सामने आया है। चोपड़ा, उत्तर दिनाजपुर में एक महिला के साथ दुर्व्यवहार हुआ, खुलेआम कोड़े से उसकी पिटाई की गई, जो वायरल वीडियो में साफ स्पष्ट हो रहा है। श्री भाटिया ने वारदात की तस्वीर को प्रस्तुत हुए कहा यह तस्वीर हर चैनल और सोशल मीडिया पर हर जगह दिखाई पड़ रही है। भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री जगत प्रकाश नड्डा जी ने अभी ये मुद्दा बहुत मजबूती से उठाया है और सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर अपने विचार व्यक्त किए हैं। उत्तर दिनाजपुर में टीएमसी नेता ताजमुल उर्फ जेसीबी भारतीय संविधान में आस्था नहीं रखते हैं। ममता बनर्जी के इशारे पर टीएमसी नेता ताजमुल तालिबानी स्टाइल में त्वरित न्याय करने में विश्वास रखते हैं।

 

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर तंज कसते हुए श्री भाटिया ने कहा कि ममता बनर्जी की आस्था अब संविधान में नहीं है, बल्कि उन्होंने अपनी पार्टी के गुंडों को खुली छूट दे दी है कि शरिया कानून लागू करो, तालिबान का राज है। पश्चिम बंगाल में यह हालात यह है कि खाता न बही जो ममता के गुंडे कहे वही सही। सार्वजनिक स्थल पर वो एक महिला को कोड़े मार रहा है और ऐसा तभी हो सकता है, जब तृणमूल कांग्रेस के लीडर को सबकुछ मालूम हो और ममता बनर्जी की मौन स्वीकृति  है। ममता बनर्जी से बंगाल की जनता त्रस्त है और ये कहना गलत नहीं होगा कि “जंगलराज” बिल्कुल “ममता राज” जैसा होता है। यह हर नागरिक के लिए पीड़ादायक और चिंताजनक है कि एक महिला मुख्यमंत्री जिनके पास गृह मंत्रालय भी है वे अपनी पार्टी के गुंडे को खुली छूट दे रखी है और जनता की सुरक्षा की उनको चिंता नहीं है, बल्कि टीएमसी के गुंडे लीडर की सुरक्षा की चिंता है। जनता को इंसाफ दिलाने के बजाय टीएमसी के गुंडे का बचाव कर रही है ।

 

श्री भाटिया ने कहा कि ताजमुल उर्फ जेसीबी को ममता बनर्जी सरकार से सरंक्षण मिल रहा है। टीएमसी के विधायक हमीद उल रहमान ममता बनर्जी की सोच को आगे बढ़ा रहे हैं और मुस्लिम देशों के नियम के तहत किसी भी महिला को सार्वजनिक स्थान पर कोड़े मार रहे हैं। एक महिला मुख्यमंत्री और गृह मंत्री होने के बावजूद ममता बनर्जी ने संदेशखाली पर चुप्पी साधे रखी। संदेशखाली ने शाहजहां दिया और नॉर्थ दिनाजपुर ने औरंगजेब ताजमुल दिया। संविधान की प्रति हाथ में लेकर घूमने वाले विपक्ष के इंडी गठबंधन के नेता पश्चिम बंगाल में हो रहे तालिबानी न्याय से सहमत हैं, क्या? श्री भाटिया ने सवाल उठाया कि यह मुद्दा महिलाओं की अस्मिता और अधिकार के साथ-साथ मानवाधिकार का भी है। ममता बनर्जी तुष्टीकरण की राजनीति में इतना लिप्त हो चुकी हैं कि उन्हें संविधान की कोई परवाह ही नहीं है। पश्चिम बंगाल में कानून व्यवस्था ध्वस्त है, लेकिन ममता बनर्जी मस्त हैं।  

 

राष्ट्रीय प्रवक्ता श्री गौरव भाटिया ने कहा कि इस मुद्दे पर मल्लिकार्जुन खड़गे, सोनिया गांधी, राहुल गांधी, अखिलेश यादव, अरविंद केजरीवाल जैसे नेता मुंह में दही जमाकर चुप्पी साधे बैठे हैं, क्यों? कांग्रेस समेत इंडी गठबंधन के नेता संविधान पकड़ कर घूमते हैं, मगर पश्चिम बंगाल में संविधान की मूल भावना को तार-तार कर महिला अस्मिता के साथ खिलवाड़ होने पर विरोध नहीं करते हैं, इस मुद्दे को केवल भारतीय जनता पार्टी मजबूती से उठा रही है और पीड़ितों के साथ खड़ी है। उन्होंने कहा कि चिंता की बात यह है कि टीएमसी के विधायक इस घटना को निंदनीय नहीं बता रहे, बल्कि इसको सही ठहरा रहे हैं। क्या पश्चिम बंगला में ममता बनर्जी का अपना कानून चलेगा कि किसी भी युवा या महिला को पकड़कर दोषी ठहरा दिया जाएगा और उन्हें सजा भी दे दी जाएगी। क्या पश्चिम बंगाल में पुलिस और न्यायालय नाम की कोई व्यवस्था नहीं है? संदेशखाली, चुनावी हिंसा, हत्या, बलात्कार और उत्तरी दिनाजपुर हुए निंदनीय कृत्य की जिम्मेदारी मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की है और भाजपा उनके इस्तीफे की मांग करती है, क्योंकि वह अब पश्चिम बंगाल को संभाल नहीं पा रही हैं।

 

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