Salient points of the press conference of Hon’ble Union Minister Sushri Shobha Karandlaje.


द्वारा कुमारी. शोभा करंदलाजे -
16-07-2024
Press Release

 

केन्द्रीय राज्य मंत्री सुश्री शोभा करंदलाजे की प्रेस वार्ता के मुख्य बिन्दु

 

जब से कांग्रेस सरकार कर्नाटक में आई है, तब से लूट, घोटाला, तुष्टिकरण और सरकारी फंड की बंदरबांट खुलेआम हो रही है, यही कांग्रेस सरकार का सिद्धांत बन गया है।

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2022 में मुख्यमंत्री के. सिद्धारमैया की धर्मपत्नी पार्वती सिद्धारमैया को मैसूर के दिल कहे जाने वाले केसरे गांव में 14 साइट प्रदान किया गया है। यह मुआवजा पूर्णत: कानून के विरूद्ध है और मुख्यमंत्री के. सिद्धारमैया स्वयं इसके लाभार्थी हैं।

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वाल्मीकि डेवलपमेंट फंड घोटाले में केवल बी नागेंद्रन नहीं, बल्कि मुख्यमंत्री भी शामिल हैं और उनके कहने पर ही 15 कंपनियों को पैसा भेजा गया।

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मुख्यमंत्री सिद्धारमैया अपने पद का दुरुपयोग कर, वाल्मीकि एससी एसटी डेवलपमेंट फंड घोटाले को छिपाने की कोशिश कर रहे हैं। मुख्यमंत्री दफ्तर से दबाव होने के कारण राज्य के लोकायुक्त भ्रष्टाचार के रोकथाम कानून के तहत मुख्यमंत्री के. सिद्धारमैया पर प्राथमिकी दर्ज नहीं कर रहे हैं।

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संविधान की प्रति हाथ में लेकर पूरा देश घूमने वाले कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के राज्य में जनता के पैसों को डायवर्ट किया गया और राहुल गांधी इसपर चुप्पी साधे बैठे हैं।

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कर्नाटक की सिद्धारमैया सरकार कांग्रेस आलाकमान का एटीएम बन गई है। कांग्रेस खटाखट माध्यम से 8 हजार रुपए जनता के खाते में आने के बजाय जनता का पैसा लुटाने के फिराक में है।

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कर्नाटक विधानसभा में पहली बारपाकिस्तान जिंदाबादका नारा लगाये गए, जबकि मुख्यमंत्री के हर एक कार्यक्रम मेंपाकिस्तान जिंदाबादके नारे लगते हैं।

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2013 से 2018 की सिद्धारमैया सरकार पर अरकावती ले-आउट घोटाले की जांच के लिए के पन्ना आयोग की रिपोर्ट आज तक सामने नहीं आई है।

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वाल्मीकि डेवलपमेंट फंड के अधिकारी पी चंद्रशेखरन के सुसाइड नोट ने अपने 6 पन्नों के सुसाइड नोट में लिखा किपैसों के स्थानांतरण मुझपर दबाव बनाया गया, इसी वजह से मैं आत्महत्या कर रहा हूँ।

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कर्नाटक कांग्रेस सरकार की गारंटी के कारण बिजली बिल को दोगुना किया, 3.5 रुपए डीजल-पेट्रोल का दाम बढ़ाया, दूध का कीमत प्रति लीटर 5 रुपए बढ़ाया और अब केएसआरटीसी का किराया बढ़ाने की घोषणा की है।

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कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया को केवल वाल्मीकि विकास निगम से बल्कि विभिन्न अन्य निगमों से भी धन प्राप्त करने की बात को भी स्वीकार करना चाहिए।

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माननीय केन्द्रीय राज्यमंत्री सुश्री शोभा करंदलाजे ने आज केन्द्रीय कार्यालय में प्रेसवार्ता को संबोधित करते हुए कहा कि कर्नाटक की सिद्धारमैया सरकार कांग्रेस आलाकमान का एटीएम बन गई है। कांग्रेस अपने खटाखट माध्यम से 8 हजार रुपए जनता के खाते में भेजने के बजाय जनता और एससी एसटी वर्ग के विकास के पैसों को लूटने का काम कर रही है और उसका बोझ राज्य की जनता पर डाल रही है। सुश्री शोभा करंदलाजे ने मांग की कि मुख्यमंत्री सिद्धारमैया के इस्तीफे दे और वाल्मीकि विकास निगम मामले में उनके खिलाफ मुकदमा चलायी जाए।

 

सुश्री करंदलाजे ने कहा कि कर्नाटक शांतिप्रिय और प्रगतिशील राज्य है लेकिन आज कांग्रेस के शासन में राज्य पिछले 1 साल से घोटाले, महिला अत्याचार और हत्याओं के लिए प्रसिद्ध हो रहा है। कर्नाटक विधानसभा में पहली बारपाकिस्तान जिंदाबादका नारा लगाये गए, जबकि मुख्यमंत्री के हर एक कार्यक्रम मेंपाकिस्तान जिंदाबादके नारे लगते हैं। कॉलेज के बच्चों के साथ अत्याचार हो रहा है, उनकी हत्या हो रही है फिर अपराधी की रक्षा करने का काम कर्नाटक की कांग्रेस सरकार कर रही है।

 

केन्द्रीय मंत्री सुश्री करंदलाजे ने कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया पर तंज कसते हुए कहा कि सिद्धारमैया राज्य, लोगों की रक्षा और विकास के लिए कार्य नहीं करते हैं बल्कि खुद घोटाले के आरोप में फंसे हैं। कानून के विरुद्ध मुख्यमंत्री सिद्धारमैया की पत्नी पार्वती सिद्धारमैया मैसूर में MUDA (मैसूर शहरी विकास प्राधिकरण) में 14 साइटों को अवैध रूप से अधिग्रहित किया। 1992 में, MUDA ने केसारे गाँव में भूमि अधिग्रहित की और 3.81 लाख रुपये का मुआवजा दिया लेकिन पार्वती सिद्धारमैया ने इसे स्वीकार नहीं किया। सिद्धारमैया 1992 में वित्त मंत्री रहे, 1998 में उपमुख्यमंत्री और 2002 में जब सिद्धारमैया वित्त मंत्री थे तब उस समय MUDA ने एक अधिसूचना जारी की लेकिन तब भी वे चुप थे। बाद में, 2021 में पार्वती सिद्धारमैया ने MUDA को लिखा - "मुझे 50-50 के आधार पर मुआवजा चाहिए" 2015 में, MUDA ने एक कानून पेश किया जिसके तहत व्यक्तियों द्वारा अधिग्रहित भूमि में 50% साइटें विकसित की गईं। लेकिन 2017 में सिद्धारमैया चिट्ठी लिखकर मुआवजे के लिए दबाव बनाते हैं। 2022 में पार्वती सिद्धारमैया को मैसूर के दिल कहे जाने वाले केसरे गांव में 14 साइट प्रदान किया जाता है। यह मुआवजा पूर्णत: कानून के विरूद्ध है और सिद्धारमैया स्वयं इसके लाभार्थी हैं।

 

सुश्री करंदलाजे ने कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया के इस्तीफे की मांग करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री सिद्धारमैया अपने पद का दुरुपयोग कर, इस मामले को छिपाने की कोशिश कर रहे हैं और घोटाले के समय से अब तक संवैधानिक पद पर बने हुए हैं। कर्नाटक में हुए मूडा घोटाले के निष्पक्ष और स्वतंत्र जांच होनी चाहिए और सेवानिवृत न्यायाधीश की अध्यक्षता में एक जांच कमेटी बनानी चाहिए। इस पूरे मामले में हस्तक्षेप करने के प्रयास किए जा रहे हैं। 2013 से 2018 तक कांग्रेस की सिद्धारमैया सरकार पर अरकावती ले-आउट का आरोप लगा था, जिसमें 541 साइट को डिनोटिफाइड करने का घोटाला सामने आया था, तब उसके घोटाले की जांच के लिए के. पन्ना आयोग बनाया गया, जिसकी रिपोर्ट आज तक नहीं आई है। अब सिद्धारमैया सरकार इस घोटाले को छिपाने के लिए एक सदस्यीय देसाई कमेटी बनाई है। मुख्यमंत्री दफ्तर के दबाव के कारण राज्य के लोकायुक्त भ्रष्टाचार की रोकथाम कानून के तहत मुख्यमंत्री सिद्धारमैया पर प्राथमिकी दर्ज नहीं कर रहे हैं। भाजपा मांग करती है कि सिद्धारमैया तुरंत इस्तीफा दें और जांच का सामना करें।  

 

केन्द्रीय मंत्री सुश्री करंदलाजे ने कहा कि कर्नाटक में अन्य घोटालों की भी जांच चल रही है। राज्य के महर्षि वाल्मीकि एसटी विकास निगम में भी 187 करोड़ रुपए का घोटाला सामने आया है। यूनियन बैंक के वसंत नगर शाखा से 187 करोड़ रुपए को पहले एम जी रोड की शाखा में स्थानांतरित किया और उसके बाद बंजारा हिल्स के आरएमबी बैंक को भेजे गए। आरएमबी बैंक से पैसे शराब की दुकानों और सोनारों के पास भेजे जाते हैं। महर्षि वाल्मीकि एसटी विकास निगम के अधिकारी पी चंद्रशेखरन के सुसाइड नोट से इस घोटाले की जानकारी प्राप्त हुई। पी चंद्रशेखरन ने अपने 6 पन्नों के सुसाइड नोट में यह भी लिखा कि पैसों के स्थानांतरण उनपर दबाव बनाया गया, इसी वजह से मैं आत्महत्या कर रहा हूँ। इस मामले के सामने आने के बाद भाजपा ने राज्य सरकार पर त्वरित कार्रवाई के लिए दबाव बनाया। कांग्रेस सरकार द्वारा बनाई गई एसआईटी जांच के नाम पर कुछ नहीं किया। बाद में यूनियन बैंक ने इस मामले में सीबीआई को पत्र लिखकर शिकायत दर्ज कराई। इस घोटाले में सीबीआई की जांच जारी है और ईडी ने कई लोगों को गिरफ्तार भी किया है।

 

सुश्री करंदलाजे ने कहा कि इस घोटाले के समय बी. नागेंद्रन राज्य सरकार में मंत्री थे, जिन्हें ईडी ने गिरफ्तार किया है। पी. चन्द्रशेखरन के आत्महत्या करने के बाद बी. नागेंद्रन ने मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था। अधिकारियों का मानना है कि इस घोटाले में केवल बी. नागेंद्रन नहीं, बल्कि मुख्यमंत्री भी शामिल हैं और उनके कहने पर ही 15 कंपनियों को पैसा भेजा गया। वाल्मीकि एससी एसटी डेवलपमेंट फंड को अवैध तरीके से निकालकर हैदराबाद भेजा गया, जहां उन पैसों को तेलंगाना के विधानसभा चुनाव में इस्तेमाल किया गया। मुख्यमंत्री सिद्धारमैया राज्य के वित्त मंत्री भी हैं और 187 करोड़ रुपए उनके कहने पर ही हैदराबाद भेजे गए हैं। राज्य सरकार द्वारा बनाई गई एसआईटी, सीबीआई को मदद नहीं कर रही है। कर्नाटक की सिद्धारमैया सरकार कांग्रेस आलाकमान का एटीएम बन गई है। राहुल गांधी और प्रियंका गांधी के कहने पर ही कर्नाटक से ये पैसे तेलंगाना भेजे गए हैं। कांग्रेस ने कर्नाटक के दलित वर्ग के शिक्षा, बोरवेल, गंगा कल्याण और गरीबों के पैसे को लूट कर तेलंगाना के चुनाव में इस्तेमाल किया। कर्नाटक की कांग्रेस सरकार खुलेआम संविधान का उल्लंघन कर रही है। संसद में संविधान की प्रति लेकर घूमने वाले और संविधान को हाथ में लेकर शपथ लेने वाले राहुल गांधी बताएं कि कर्नाटक के एससीएसपी/टिएसपी का पैसा कहाँ गया? हर विभाग में एससी वर्ग के लिए 24% का संवैधानिक आवंटन किया जाता है, जिसमें से 17.1% एससी वर्ग के विकास के लिए और 6.9% एसटी के विकास के लिए खर्च होने चाहिए। कर्नाटक में एससी/एसटी के विकास के लिए आवंटित राशि 14,735 करोड़ रुपए को कांग्रेस की गारंटियों को पूरा करने के लिए खर्च किया गया है। संविधान की प्रति हाथ में लेकर पूरा देश घूमने वाले कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे के राज्य में जनता के पैसों को डायवर्ट किया गया और राहुल गांधी इस पर चुप्पी साधे बैठे हैं। केंद्रीय मंत्री ने कांग्रेस के वादों में विसंगतियों की ओर इशारा किया और कहा कि कर्नाटक के परिवहन मंत्री रामलिंगा रेड्डी का दावा है कि परिवहन विभाग 4 हजार करोड़ रुपये के मुनाफे में है, वहीं कर्नाटक राज्य सड़क परिवहन निगम (केएसआरटीसी) के अध्यक्ष ने दिवालियापन की चेतावनी दी है, जिसके कारण बस किराए में वृद्धि होगी।

 

केन्द्रीय मंत्री सुश्री करंदलाजे ने कर्नाटक कांग्रेस की सरकार पर तंज कसते हुए कहा कि कर्नाटक की कांग्रेस सरकार की गारंटी के कारण बिजली बिल को दोगुना किया, 3.5 रुपए डीजल-पेट्रोल का दाम बढ़ाया, दूध का कीमत प्रति लीटर 5 रुपए बढ़ाया और अब केएसआरटीसी बसों का किराया भी बढ़ाने को बोला है। कांग्रेस के नेता खटाखट माध्यम से 8 हजार रुपए जनता के खाते में आने के बजाय जनता का पैसा लुटाने के फिराक में है। कांग्रेस के झूठे वादे के लिए महिला लाइन लगा के खड़ी रहती है, लेकिन वह पूरा नहीं होता है। कर्नाटक में हर हफ्ते नए घोटाले-घपले के मामले सामने आ रहे है। आंगनवाड़ी में बच्चों के खाने में कांग्रेस घपले कर रही है, कर्नाटक राज्य सहकारी शीर्ष बैंक जनता के ऋण के लिए आवंटित पैसे कांग्रेस अपने खाते में जमा कर रही है।  

 

माननीय केन्द्रीय मंत्री सुश्री करंदलाजे ने आरोप लगाया कि सिद्धारमैया को केवल वाल्मीकि विकास निगम से ही नहीं, बल्कि विभिन्न अन्य निगमों से भी धन प्राप्त करने की बात स्वीकार करनी चाहिए। उन्होंने सिद्धारमैया पर MUDA घोटाले, हैदराबाद के आरएमबी बैंक में ₹187 करोड़ ST फंड के हस्तांतरण और अन्य संदिग्ध लेन-देन सहित घोटालों में शामिल होने का आरोप लगाया। भारतीय जनता पार्टी मांग करती है कि कांग्रेस आलाकमान सिद्धारमैया को मुख्यमंत्री पद से हटाए और उन पर लगे आरोपों की जांच शुरू कराये।

 

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